प्रायः हर व्यक्ति यह चाहता है कि उसे अचानक भारी धन-लाभ हो, चाहे किसी भी प्रकार से हो ! इस अचानक लाभ के लिए व्यक्ति अपनी जमापूँजी को भी लॉटरी, रेस, सट्टा आदि में लगा देते हैं ! इस तरह अपनी परिश्रम से कमाई हुई दौलत को बर्बाद करना सर्वथा अनुचित है ! यह भी जान लेना जरूरी है कि वास्तव में आपके भाग्य में आकस्मिक धन-लाभ प्राप्त होना है या नहीं !
हस्तरेखा के
अनुसार जिनके दाहिने हाथ पर चंद्र के उभरे हुए भाग पर तारे का चिह्न है और जिनकी
अंतःकरण रेखा शनि के ग्रह पर ठहरती है, ऐसे व्यक्तियों
को आकस्मिक लाभ मिलता है !
जिनके दाहिने
हाथ की बुध से निकलने वाली रेखा चंद्र के पर्वत से जा मिलती है और जिनकी जीवन रेखा
भी चंद्र पर्वत पर जाकर रुक जाती है, ऐसे व्यक्तियों
को अचानक भारी लाभ होता है !
जिनकी भाग्य
रेखा चंद्र पर्वत से निकलकर प्रभावी शनि में संपूर्ण विलीन हो जाती है, ऐसे
भाग्यवान व्यक्तियों को अल्पकालीन धन-लाभ होता है !
जिनके दाहिने
हाथ पर दोहरी अंत.करण रेखा है और गौण रेखा बुध तथा शनि के ग्रहों से जुड़ी हुई है,
ऐसे व्यक्तियों को अचानक भारी लाभ होगा । इसके विपरीत जिनके हाथों की
आयुष्य रेखा नेपच्युन ग्रह पर गई हों, चंद्र और
नेपच्युन पर्वत एक-दूसरे में घुल-मिल गए हों, अंतःकरण रेखा
गुरु पर्वत पर ठहर गई हो, जिनके शनि के उभरे हुए भाग पर फुली पड़
गई हो, ऐसे व्यक्तियों को रेस, लॉटरी
इत्यादि में धन-लाभ कभी नहीं होगा, उनका पूरा जीवन कड़ा परिश्रम करने में
ही गुजरता है । वे पैसे गँवाकर कंगाल बने रहते हैं !
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